Dot New Rule: दूरसंचार विभाग (DoT) ने एक अहम निर्णय लिया है जिससे करोड़ों मोबाइल यूजर्स को राहत मिलेगी. प्रीपेड से पोस्टपेड या फिर पोस्टपेड से प्रीपेड में नंबर बदलवाने के नियम को पहले से कहीं आसान बना दिया गया है. अब यूजर्स को इस प्रक्रिया में लंबा इंतजार नहीं करना होगा. पहले इस काम को पूरा करने के लिए 90 दिनों का इंतजार करना पड़ता था, लेकिन नए नियम के तहत 30 दिन के भीतर ही अपना नंबर बदलवाना संभव होगा. यह बदलाव खासतौर पर उन यूजर्स के लिए है जो अपना कनेक्शन प्रीपेड से पोस्टपेड में या फिर पोस्टपेड से प्रीपेड में बदलवाना चाहते हैं.
OTP आधारित KYC वेरिफिकेशन
इस नए सिस्टम के तहत, यूजर्स को अब अपना कनेक्शन बदलवाने के लिए OTP आधारित KYC (Know Your Customer) वेरिफिकेशन करवाना होगा. इसके लिए उन्हें अपने नजदीकी टेलीकॉम सर्विस प्रोवाइडर के आउटलेट्स पर जाना होगा, जहां वे OTP के माध्यम से अपनी पहचान सत्यापित कर सकते हैं. यह प्रक्रिया पहले से कहीं अधिक सरल और सुविधाजनक बनाई गई है, ताकि यूजर्स के लिए यह अनुभव आसान हो सके.
2021 के आदेश में बदलाव
DoT ने अपने पुराने आदेश में बदलाव करते हुए, 21 सितंबर 2021 के उस आदेश में संशोधन किया है जिसमें कहा गया था कि प्रीपेड से पोस्टपेड या पोस्टपेड से प्रीपेड में परिवर्तन के लिए 90 दिन का कूलिंग पीरियड रखा जाएगा. इस कूलिंग पीरियड को अब 30 दिन कर दिया गया है, जिससे अब यूजर्स को लंबे समय तक इंतजार करने की आवश्यकता नहीं होगी. यह निर्णय दूरसंचार विभाग के कनेक्टिविटी सुधार प्रयासों का हिस्सा है, जिससे ग्राहकों को बेहतर सेवा मिल सके.
यूजर्स को मिलेगा सीधा लाभ
अब यूजर्स जिनके लिए उनकी मोबाइल सेवा पसंद नहीं आ रही है, वे बिना किसी बाधा के अपना कनेक्शन बदलवा सकेंगे. पहले जहाँ 90 दिन का समय लगता था, अब वह 30 दिन में पूरा किया जा सकता है. इसका सीधा लाभ उन लोगों को मिलेगा जो अपनी सेवा में बदलाव चाहते थे लेकिन लंबे कूलिंग पीरियड के कारण यह नहीं कर पाते थे. DoT का यह नया कदम उन लाखों यूजर्स के लिए एक खुशखबरी साबित होगा, जो प्रीपेड और पोस्टपेड के बीच बदलाव की उम्मीद कर रहे थे.
आसान प्रक्रिया से बढ़ेगा यूजर संतोष
इस बदलाव से यूजर्स का अनुभव अधिक संतोषजनक होगा क्योंकि उन्हें अपने कनेक्शन को बदलने के लिए अब लंबा इंतजार नहीं करना होगा. साथ ही, OTP आधारित KYC प्रक्रिया से यह भी सुनिश्चित होगा कि प्रक्रिया पूरी तरह से सुरक्षित और बिना किसी धोखाधड़ी के होगी. दूरसंचार विभाग ने इस कदम को उठाकर मोबाइल यूजर्स की परेशानी को कम करने का एक बड़ा प्रयास किया है.