Kisan Mobile App: हरियाणा के किसानों के लिए एक बड़ी खुशखबरी सामने आई है. अब उन्हें फसलों में लगने वाली बीमारियों या कीटों से निपटने के लिए न तो गांव छोड़ना होगा और न ही कृषि दफ्तरों के चक्कर काटने होंगे. क्योंकि अब उनके मोबाइल फोन पर ही समाधान मौजूद होगा.
फरीदाबाद की विशेषज्ञ टीम ने किया रेवाड़ी में फसलों का निरीक्षण
कृषि एवं किसान कल्याण विभाग और क्षेत्रीय एकीकृत नाशीजीव प्रबंधन केंद्र (फरीदाबाद) की टीम ने रेवाड़ी जिले के कई गांवों का दौरा किया. वहां उन्होंने कपास की फसलों का गहन निरीक्षण किया और किसानों से सीधे संवाद किया.
इस दौरान किसानों को फसलों में कीट प्रबंधन, रोकथाम के उपाय और जैविक नियंत्रण तकनीकों के बारे में जानकारी दी गई. टीम का उद्देश्य था किसानों को आधुनिक कृषि तकनीक से जोड़ना और उन्हें कम लागत में अधिक उत्पादन के लिए प्रेरित करना.
‘राष्ट्रीय कीट निगरानी प्रणाली’ ऐप से मिलेगा तुरंत समाधान
- विशेषज्ञों ने किसानों को ‘राष्ट्रीय कीट निगरानी प्रणाली’ नामक मोबाइल ऐप के बारे में विस्तार से बताया.
- यह ऐप फसलों में कीट या बीमारियों की तुरंत पहचान करता है.
- किसान ऐप में समस्या की फोटो अपलोड कर सकते हैं, जिसके बाद विशेषज्ञ तुरंत समाधान और उपाय सुझाव के रूप में भेजते हैं.
- ऐप में फसलवार कीट, लक्षण और नियंत्रण उपायों की विस्तृत जानकारी मौजूद है.
- इससे किसानों को समय पर इलाज और रोकथाम करने का मौका मिलेगा, जिससे फसल को नुकसान से बचाया जा सकेगा.
किसानों को जोड़ने की दिशा में अहम कदम
इस पहल का मुख्य उद्देश्य है कि किसान डिजिटल साधनों के जरिये भी खेती की समस्याओं का हल निकाल सकें. ग्रामीण क्षेत्रों में मोबाइल की पहुंच को देखते हुए, इस ऐप के जरिए प्रशिक्षण, मार्गदर्शन और तकनीकी सहायता देना अब ज्यादा आसान हो गया है.
किसानों को जागरूक करने, उन्हें फील्ड स्तर पर सहायता देने और फसलों की गुणवत्ता सुधारने में यह ऐप एक अहम भूमिका निभा सकता है.
आधुनिक तकनीक से जुड़ेगा खेती का भविष्य
जहां पहले किसान बीमारी या कीट लगने पर कृषि अधिकारियों पर निर्भर रहते थे, वहीं अब एक ऐप के जरिए उन्हें तुरंत समाधान मिल सकेगा. इससे न केवल उपज में सुधार होगा, बल्कि कीटनाशकों का सीमित और उचित प्रयोग भी सुनिश्चित किया जा सकेगा.
फसल की रक्षा के लिए समय पर जानकारी और तकनीकी मदद मिलना आज के कृषि क्षेत्र की सबसे बड़ी जरूरत बन चुकी है. इस दिशा में यह ऐप एक मील का पत्थर साबित हो सकता है.