Minimum Balance Rule: आज के दौर में लगभग हर व्यक्ति के पास सेविंग बैंक खाता होता है. यह खाता न केवल पैसे सुरक्षित रखने का माध्यम है, बल्कि जरूरत पड़ने पर आसानी से लेन-देन का जरिया भी बनता है. हालांकि, यदि आपका खाता Zero Balance Account नहीं है, तो आपको इसमें एक न्यूनतम राशि बनाए रखना जरूरी होता है. ऐसा नहीं करने पर बैंक जुर्माना वसूलते हैं.
सेविंग अकाउंट से जुड़े नियम क्या हैं?
हर बैंक का अपना-अपना नियम होता है कि खाताधारक को अपने खाते में कितनी राशि मिनिमम बैलेंस के रूप में रखनी होगी. यह राशि बैंक की शाखा की स्थिति (शहरी, अर्ध शहरी या ग्रामीण) पर भी निर्भर करती है. आइए जानते हैं प्रमुख बैंकों के नियम और जुर्माना दरें.
Canara Bank में कितना मिनिमम बैलेंस जरूरी है?
Canara Bank के खाताधारकों को निम्न शर्तों के आधार पर न्यूनतम बैलेंस बनाए रखना होगा:
- शहरी शाखा में: ₹2000
- अर्ध शहरी शाखा में: ₹1000
- ग्रामीण शाखा में: ₹500
- यदि खाताधारक इन शर्तों का पालन नहीं करता, तो बैंक जुर्माना वसूल सकता है, जो तय की गई राशि पर निर्भर करता है.
PNB खाताधारकों के लिए मिनिमम बैलेंस की शर्तें
Punjab National Bank (PNB) भी अपने खाताधारकों से निम्नानुसार मिनिमम बैलेंस बनाए रखने की मांग करता है:
- शहरी क्षेत्र में: ₹10,000
- सेमी अर्बन क्षेत्र में: ₹1000
- ग्रामीण क्षेत्र में: ₹1000
यह नियम खाताधारकों की ब्रांच लोकेशन के अनुसार तय किया गया है और इसके उल्लंघन पर चार्ज लगाया जाता है.
ICICI Bank में मिनिमम बैलेंस की आवश्यकता
यदि आपका खाता ICICI Bank में है, तो आपको इन शर्तों का पालन करना होगा:
- शहरी शाखा में: ₹10,000
- अर्ध शहरी शाखा में: ₹5000
- यह बैंक भी खातों के अनुसार चार्ज और जुर्माना वसूलता है, यदि निर्धारित बैलेंस नहीं रखा गया.
HDFC Bank का नियम
HDFC Bank भारत के प्रमुख निजी बैंकों में से एक है और इसका मिनिमम बैलेंस नियम इस प्रकार है:
- शहरी क्षेत्र में: ₹10,000
- अर्ध शहरी शाखा में: ₹2500
- यदि इन खातों में निर्धारित राशि से कम बैलेंस होता है, तो खाताधारक से पेनल्टी वसूली की जाती है.
SBI ने खत्म किया Minimum Balance का नियम
State Bank of India (SBI) ने मिनिमम बैलेंस का नियम खत्म कर दिया है. अब इस बैंक के किसी भी सेविंग अकाउंट होल्डर को अकाउंट में न्यूनतम राशि बनाए रखने की जरूरत नहीं है. यह बदलाव सभी खाताधारकों के लिए एक बड़ी राहत है.
मिनिमम बैलेंस न रखने पर कितनी लगती है पेनल्टी?
हर बैंक की अपनी नीति होती है. कुछ बैंक जुर्माना फिक्स अमाउंट के रूप में लेते हैं, तो कुछ प्रतिशत के आधार पर चार्ज करते हैं. यह शुल्क ₹10 से लेकर ₹600 या उससे अधिक तक हो सकता है. जुर्माने की राशि बैलेंस की कमी और खाता प्रकार पर निर्भर करती है.
Zero Balance Account के फायदे
Zero Balance Account में किसी प्रकार का मिनिमम बैलेंस रखने की अनिवार्यता नहीं होती. इन खातों में एक रुपये भी न हो, तब भी खाता सक्रिय बना रहता है. शर्त यह है कि खाताधारक समय-समय पर ट्रांजैक्शन करते रहें. ये खाते आम तौर पर जनधन योजना, PMJDY या खास कैटेगरी में खोले जाते हैं.
ग्राहकों के लिए सुझाव
यदि आप बैंक से बिना किसी दंड के सेवाएं लेना चाहते हैं, तो यह सुनिश्चित करें कि खाते में कम से कम निर्धारित राशि हो.
जिन लोगों का नियमित मासिक इनकम नहीं है, वे Zero Balance Account खोलने का विकल्प चुन सकते हैं.
बैंक खाते की शाखा लोकेशन पर ध्यान दें क्योंकि वही तय करता है कि कितनी राशि रखनी होगी.