ओला ने ड्राइवरों की कर दी मौज, जीरो कमीशन मॉडल से ड्राइवर को अब मिलेगा 100% किराया Ola Zero Commission Plan

Ola Zero Commission Plan: देश की प्रमुख राइड-हेलिंग कंपनी ओला (Ola) ने अपने ड्राइवर-पार्टनर्स के लिए एक क्रांतिकारी योजना शुरू की है. कंपनी ने ‘Zero Percent Commission’ मॉडल लॉन्च किया है, जिसके तहत अब कैब, ऑटो और बाइक ड्राइवर को उनके द्वारा की गई राइड का पूरा किराया मिलेगा. यानी ग्राहक से मिलने वाली रकम पर कंपनी कोई भी कमीशन नहीं काटेगी.

ड्राइवर को मिलेगा 100% किराया, कोई कटौती नहीं

ओला द्वारा जारी आधिकारिक बयान में कहा गया है कि यह 0% कमीशन मॉडल सभी श्रेणियों – ऑटो, बाइक और कैब सेवाओं पर लागू होगा. ड्राइवरों को अब कोई राइड लिमिट या इनकम लिमिट नहीं होगी और वे अपने पूरे किराए की राशि रख सकेंगे.

इस फैसले के साथ ओला देश का पहला ऐसा प्लेटफॉर्म बन गया है, जो बिना किसी राइड सीमा या आय सीमा के पूरे भारत में जीरो कमीशन मॉडल लागू कर रहा है. इससे 10 लाख से अधिक ड्राइवरों को सीधा लाभ मिलेगा.

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चरणबद्ध तरीके से लागू किया गया प्लान

ओला ने सबसे पहले यह मॉडल Ola Autos के लिए पेश किया था, इसके बाद इसे Ola Bikes और अब Ola Cabs के लिए भी लागू कर दिया गया है. कंपनी का कहना है कि यह पहल ड्राइवरों की कमाई बढ़ाने, मजबूती मिलने और सस्टेनेबल मोबिलिटी नेटवर्क के निर्माण की दिशा में एक मजबूत कदम है.

ओला प्रवक्ता का बयान

ओला के कंज्यूमर प्रवक्ता ने कहा, “हमारा मानना है कि ड्राइवर पार्टनर्स मोबिलिटी इकोसिस्टम की रीढ़ हैं. उन्हें कमाई पर पूरा कंट्रोल देना देश में एक बेहतर राइड-हेलिंग नेटवर्क बनाने में मदद करेगा.” उन्होंने कहा कि इस मॉडल से ड्राइवरों को ज्यादा कमाई के मौके मिलेंगे और प्लेटफॉर्म की विश्वसनीयता भी बढ़ेगी.

कैब ड्राइवरों को क्या करना होगा?

हालांकि अभी तक ओला ने यह स्पष्ट नहीं किया है कि इस नए मॉडल का फायदा उठाने के लिए ड्राइवरों को क्या प्रक्रिया अपनानी होगी. क्या इसके लिए कोई सब्सक्रिप्शन प्लान खरीदना होगा या यह स्वतःस्फूर्त लागू होगा, इस पर कंपनी की ओर से अब तक कोई खुलासा नहीं हुआ है.

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क्या सरकार की योजना के दबाव में आया बदलाव?

इस पहल को भारत सरकार की आगामी टैक्सी प्लेटफॉर्म योजना से भी जोड़ा जा रहा है. दरअसल, मार्च 2024 में संसद में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने घोषणा की थी कि सरकार जल्द ही एक सहकारी टैक्सी सेवा शुरू करने जा रही है, जो ओला-उबर जैसे प्राइवेट प्लेटफॉर्म्स को टक्कर देगी.

सरकारी टैक्सी प्लेटफॉर्म से प्रतिस्पर्धा तेज

अमित शाह ने संसद में कहा था कि सरकारी टैक्सी सेवा टू-व्हीलर, ई-रिक्शा और फोर-व्हीलर सभी को कवर करेगी और इसका मुनाफा किसी पूंजीपति के पास नहीं जाकर सीधे ड्राइवर के पास पहुंचेगा. माना जा रहा है कि इसी संभावित प्रतिस्पर्धा के चलते ओला ने अपने ड्राइवरों को बनाए रखने के लिए यह साहसिक कदम उठाया है.

ड्राइवरों के लिए गेमचेंजर साबित हो सकता है यह मॉडल

यह 0% कमीशन मॉडल ओला के ड्राइवरों के लिए एक गेमचेंजर साबित हो सकता है. लंबे समय से ड्राइवर समुदाय उच्च कमीशन दरों और कमाई में कटौती को लेकर नाखुश था. इस नई नीति से उनकी आय में सीधी बढ़ोतरी होगी और उन्हें स्वतंत्र रूप से काम करने की प्रेरणा मिलेगी.

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