Haryana Rain Alert: हरियाणा का मौसम अचानक करवट लेता नजर आ रहा है. मौसम विभाग की ओर से प्रदेश के 17 जिलों में बारिश और तेज हवाओं को लेकर चेतावनी जारी की गई है. मौसम विभाग के अनुसार, आज यानी 19 जून से हरियाणा में प्री-मानसूनी गतिविधियों की शुरुआत होगी, जिससे प्रदेश के कई हिस्सों में हवा में नमी बढ़ेगी और तापमान में गिरावट आएगी. यह मानसून के आगमन की पूर्व सूचना मानी जा रही है.
किन जिलों में है बारिश का अलर्ट?
आज जिन 17 जिलों में हल्की से मध्यम बारिश और गरज-चमक के साथ तेज हवाओं का अनुमान है, उनमें ये जिले शामिल हैं:
पंचकूला, अंबाला, यमुनानगर, कुरुक्षेत्र, करनाल, पानीपत, सोनीपत, रोहतक, भिवानी, झज्जर, चरखी दादरी, महेंद्रगढ़, रेवाड़ी, गुरुग्राम, फरीदाबाद, नूंह और पलवल.
इन जिलों में स्थानीय प्रशासन को सतर्क रहने की सलाह दी गई है. प्री-मानसूनी सिस्टम के सक्रिय होने से अगले कुछ दिनों तक मौसम अस्थिर रहने की संभावना है.
29 जून को हरियाणा में दस्तक दे सकता है मानसून
मौसम विशेषज्ञों के अनुसार, हरियाणा में 29 जून तक मानसून पहुंचने की प्रबल संभावना है. इससे पहले ही प्री-मानसूनी हवाएं प्रदेश में सक्रिय हो गई हैं, जिससे लगातार नमी बढ़ने और गर्मी में राहत मिलने की स्थिति बन रही है.
प्री-मानसूनी हवाएं लाईं राहत की बौछार
आज से प्री-मानसूनी हवाओं के सक्रिय होने की भविष्यवाणी की गई है. ये हवाएं वातावरण में ठंडक और नमी लेकर आती हैं, जिससे दिन और रात के तापमान में गिरावट आती है. साथ ही यह बारिश के लिए अनुकूल वातावरण तैयार करती हैं.
बीते दिन किन जिलों में हुई बारिश?
18 जून को हरियाणा के कई जिलों में बारिश दर्ज की गई, जिससे लोगों को गर्मी और उमस से राहत मिली. इनमें शामिल हैं:
- भिवानी
- रोहतक
- चरखी दादरी
- करनाल
- कैथल
- नूंह
वहीं, हिसार और गुरुग्राम में दो दिन पहले हुई तेज़ बारिश के कारण सड़कें जलमग्न हो गईं थीं और कई वाहन पानी में डूब गए थे.
अगले कुछ दिनों तक बना रहेगा मौसम का यह मिजाज
मौसम विभाग का अनुमान है कि 24 जून तक प्रदेश के अलग-अलग हिस्सों में हल्की से मध्यम बारिश होती रहेगी. इस दौरान कहीं-कहीं तेज हवाएं और गरज-चमक भी देखने को मिलेगी.
किसानों और आम नागरिकों के लिए राहत
बढ़ती गर्मी और लू के बीच, हरियाणा में मानसूनी गतिविधियों की यह शुरुआत किसानों के लिए राहत भरी खबर है. जिन जिलों में धान, कपास या सब्जियों की बुआई शुरू हो चुकी है, वहां प्री-मानसूनी बारिश से फसलों को फायदा मिलेगा और सिंचाई की निर्भरता कम होगी.
प्रशासन को भी रहना होगा अलर्ट
तेज हवाओं और बारिश के कारण निचले इलाकों में जलभराव और बिजली आपूर्ति बाधित होने की संभावना रहती है. ऐसे में संबंधित जिलों के प्रशासन को अलर्ट पर रहने की जरूरत है.