PM-Kisan Yojana: किसानों के लिए खुशखबरी है. केंद्र और राज्य सरकारें मिलकर अब प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना (PM-Kisan Yojana) की वित्तीय सहायता राशि में बढ़ोतरी की योजना बना रही हैं. इस दिशा में ऊर्जा राज्यमंत्री हीरालाल नागर ने हाल ही में संकेत दिए हैं कि आने वाले समय में किसानों को मिलने वाली सालाना आर्थिक मदद में इजाफा हो सकता है. इससे करोड़ों किसानों को सीधा फायदा मिलेगा.
राज्यमंत्री हीरालाल नागर का बड़ा बयान
बूंदी जिले के नैनवां उपखंड के जजावर गांव में एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए हीरालाल नागर ने कहा कि सरकार किसानों की आर्थिक स्थिति को सुधारने को सर्वोच्च प्राथमिकता दे रही है. उन्होंने जानकारी दी कि फिलहाल पीएम किसान योजना के तहत केंद्र सरकार किसानों को ₹6000 प्रति वर्ष, और राज्य सरकार अलग से ₹3000 की सहायता दे रही है. यानी कुल ₹9000 सालाना की मदद दी जा रही है.
जल्द बढ़ सकती है सम्मान निधि की राशि
नागर ने यह भी कहा कि राज्य सरकार इस राशि को और बढ़ाने की दिशा में गंभीरता से विचार कर रही है. यदि यह प्रस्ताव अमल में आता है तो किसानों को हर साल मिलने वाली सीधी नकद सहायता में बड़ा बदलाव देखने को मिलेगा. इससे ग्रामीण अर्थव्यवस्था को भी मजबूती मिलेगी और कृषि क्षेत्र में निवेश को बढ़ावा मिलेगा.
किसानों की आय दोगुनी करने की दिशा में कदम
सरकार का यह कदम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा घोषित “2022 तक किसानों की आय दोगुनी करने” के लक्ष्य की निरंतरता के रूप में देखा जा रहा है. हालांकि 2022 बीत चुका है, लेकिन अब 2047 तक भारत को विकसित राष्ट्र बनाने की मुहिम में कृषि और किसान कल्याण को केंद्रीय भूमिका दी जा रही है.
देश की अर्थव्यवस्था में किसानों का योगदान
राज्यमंत्री नागर ने कहा कि देश की अर्थव्यवस्था पिछले 11 वर्षों में तेज गति से आगे बढ़ी है और आज भारत दुनिया की चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन चुका है. उन्होंने इसके लिए प्रधानमंत्री मोदी की दूरदर्शी नीतियों और निर्णायक नेतृत्व की सराहना की. उन्होंने कहा कि 2047 तक भारत को विकसित राष्ट्र बनाने का सपना अब साकार होने की दिशा में है और किसान उसमें अहम भूमिका निभा रहे हैं.
किसानों के लिए अन्य योजनाओं में भी बढ़ोतरी की संभावना
ऐसा माना जा रहा है कि आने वाले महीनों में सरकार पीएम किसान योजना के अलावा अन्य कृषि योजनाओं की राशि में भी बढ़ोतरी कर सकती है. जैसे कि फसल बीमा योजना, खरीफ और रबी की सब्सिडी, और मिट्टी परीक्षण जैसी योजनाओं को और सशक्त बनाया जा सकता है.
राजनीतिक दृष्टि से भी अहम फैसला हो सकता है
केंद्र और राज्य सरकारों का यह कदम राजनीतिक दृष्टि से भी रणनीतिक हो सकता है, क्योंकि किसान वर्ग देश की बड़ी आबादी को प्रभावित करता है और हर चुनाव में एक निर्णायक मतदाता वर्ग के रूप में उभरता है. ऐसे में किसान सम्मान निधि योजना की राशि में बढ़ोतरी एक लोकप्रिय निर्णय बन सकता है.
भविष्य में और राहत की उम्मीद
राज्यमंत्री नागर के संकेतों को देखते हुए यह कहना गलत नहीं होगा कि सरकार किसानों की भलाई को लेकर गंभीर है और जल्दी ही इस योजना में सुधार का कोई औपचारिक ऐलान भी किया जा सकता है. यदि ऐसा हुआ तो यह किसानों के लिए एक बड़ी राहत साबित हो सकती है.